हरियाणा के आईएमटी, मानेसर में कथित तौर पर गलत इलाज के चलते मारूति सुजुकी के 20 वर्षीय एक इंटर्न की मौत हो गई। इस मामले में एक झोलाछाप डॉक्टर को गिरफ्तार कर, उस पर गैर इरादतन हत्या का आरोप लगाया गया है। पुलिस ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी। पुलिस ने बताया कि इंटर्न किराए के मकान (PG) में रहता था और वहां लगे सीसीटीवी कैमरे में नजर आ रहा है कि यह झोलाछाप डॉक्टर और उसका दोस्त उसके पार्थिव शरीर को मकान के पास रख आए।
राजस्थान के चूरू जिले के जांदवा गांव का लीलाधर आईएमटी में मारूति में इंटर्नशिप (प्रशिक्षण) कर रहा था और अलियार गांव में किराए पर रह रहा था। लीलाधर के चाचा रामावतार ने पुलिस में शिकायत की कि मंगलवार को उन्हें अपने भतीजे की मौत की सूचना मिली और पोस्टमार्टम के बाद पुलिस ने शव सौंप दिया। लीलाधर के अनुसार, उन्हें संदेह है कि उनके भतीजे की मौत संदिग्ध परिस्थितियों में हुई है। रामावतार ने शिकायत में कहा है, ‘‘ मैंने सीसीटीवी फुटेज खंगाला और पाया कि मेरे भतीजे को ज्वर था। अलियार गांव में उत्तर प्रदेश के अमरोहा का फईम ‘आलम क्लीनिक’ में उसका इलाज कर रहा था।’’
उसने कहा, ‘‘ इस झोलाछाप डॉक्टर ने मेरे भतीजे को इंजेक्शन लगाया और उसे क्लीनिक में सो जाने को कहा लेकिन कुछ ही देर बाद उसकी मौत हो गयी। बिना वैध डिग्री वाले इस झोलाछाप डॉक्टर ने अपने दोस्त सुभान को बुलाया तथा दोनों ने मेरे भतीजे के शव को उसके किराए के मकान के पास रखा और चलते बने। उसके बाद मैंने पुलिस में शिकायत की।’’ शिकायत के बाद पुलिस टीम फिर मौके पर पहुंची और सीसीटीवी फुटेज खंगाला जिसमें इस झोलाछाप डॉक्टर और उसके दोस्त को लीलाधर के शव को उसके किराए के मकान के पास रखते हुए देखा गया।
इस झोलाछाप डॉक्टर एवं उसके दोस्त के खिलाफ भादंसं की धाराओं 304 (गैर इरादतन हत्या), 201 (सबूत छिपाना) और 34 (साझा इरादा) के तहत प्राथमिकी दर्ज की गयी है। पुलिस के अनुसार आरोपी (फईम) को बृहस्पतिवार को गिरफ्तार किया गया और उसने अपना गुनाह कबूल कर लिया।
आईएमटी मानेसर के थाना प्रभारी सुभाष चंद ने कहा, ‘‘ आरोपी एक झोलाछाप डॉक्टर है और उसके पास वैध डिग्री नहीं है। हमने आगे की कार्रवाई के लिए सिविल सर्जन को लिखा है। हम उसके साथी को पकड़ने के लिए छापेमारी कर रहे हैं।’’ पुलिस के अनुसार, इस फर्जी डॉक्टर को अदालत में पेश किया जाएगा और वह उसे हिरासत में लेने की मांग करेगी।