उद्धव ठाकरे के शासनकाल में महाराष्ट्र की आईपीएस अधिकारी रश्मि शुक्ला के खिलाफ फोन टैपिंग केस में एफआईआर दर्ज की गई थी। अब उन्हीं को एकनाथ शिंदे और भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार राज्य का डीजीपी या मुंबई का पुलिस कमिश्नर बनाने पर विचार कर रही है। भाजपा के एक मंत्री का दावा है कि अगले सप्ताह की शुरुआत में इसका ऐलान किया जा सकता है। रश्मि शुक्ला 1988 बैच की आईएएस अधिकारी हैं, जो फिलहाल सीआरपीएफ की एडीजी के तौर पर हैदराबाद में हैं। डीजी हेमंत नगराले के बाद वह महाराष्ट्र की सबसे सीनियर आईपीएस अधिकारी हैं। हेमंत नगराले 31 अक्टूबर को रिटायर हो रहे हैं।
इसके अलावा आईपीएस अधिकारी रजनीश सेठ से भी रश्मि शुक्ला सीनियर हैं, जो फिलहाल महाराष्ट्र के डीजीपी हैं। रश्मि शुक्ला का जून 2024 में रिटायरमेंट होना है। भाजपा से ताल्लुक रखने वाले महाराष्ट्र के मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार की ओर से केंद्र सरकार को विजिलेंस क्लियरेंस रिपोर्ट भेजी जाएगी। इसके बाद केंद्र से उन्हें डीजी के तौर पर भेजने की परमिशन मांगी जाएगी। इस तरह उन्हें महाराष्ट्र का डीजीपी या फिर मुंबई का पुलिस कमिश्नर बनाए जाने का रास्ता साफ हो जाएगा। हाल ही में राज्य सरकार ने पुलिस की उस मांग को खारिज कर दिया गया था, जिसमें शुक्ला के खिलाफ केस चलाने की मंजूरी मांगी गई थी।
रश्मि शुक्ला महाराष्ट्र की खुफिया प्रमुख रही हैं और उनके ऊपर एनसीपी के नेता एकनाथ खडसे एवं शिवसेना सांसद संजय राउत के फोन टैप करने के आरोप लगते रहे हैं। कोलाबा पुलिस ने इसी साल मार्च में रश्मि शुक्ला के खिलाफ केस भी दर्ज किया था। शुक्ला पर आरोप है कि उन्होंने खुफिया प्रमुख होने के नाते 2019 में कई नेताओं के फोन टैप कराए थे। तब कहा गया था कि एसआईडी यानी राज्य खुफिया विभाग ने इन नेताओं को असामाजिक गतिविधियों में शामिल बताते हुए फोन टैपिंग की मंजूरी दी थी। इसे लेकर काफी विवाद हुआ था और एनसीपी एवं शिवसेना ने तत्कालीन देवेंद्र फडणवीस सरकार पर हमला बोला था।