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Thursday, November 21, 2024

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नौकरी के लिए नकदी घोटाले में बदला भाजपा की महिला नेता की आत्महत्या का मामला; अब तक पांच लोग हुये गिरफ्तार

असम की भाजपा नेता इंद्राणी तहबीलदार की आत्महत्या के मामले ने राज्य के मौजूदा ‘नौकरी के बदले नकदी घोटाले’ का रूप ले लिया है। पुलिस ने भर्ती प्रक्रिया में कथित भूमिका के लिए पार्टी से नजदीक से जुड़े पांच लोगों को गिरफ्तार किया है। 

तहबीलदार की भाजपा के एक अन्य सदस्य के साथ अतरंग तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थीं। इसके बाद उन्होंने 11 अगस्त कथित तौर पर नींद की गोलियों की अधिक मात्रा खाकर आत्महत्या कर ली थी। 

गुवाहाटी पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने रविवार को बताया, हमने शनिवार रात को एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है। इसके साथ ही गिरफ्तार लोगों की संख्या पांच पहुंच गई है। हालांकि, उन्होंने यह कहते हुए विवरण को साझा करने से इनकार कर दिया कि मामले की अभी जांच चल रही है। अधिकारी ने बताया कि आरोपी फिलहाल पुलिस हिरासत में हैं। 

भाजपा किसान मोर्चा की संयुक्त कार्यालय सचिव तृष्णा शर्मा की यहां चांदमारी पुलिस स्टेशन में दर्ज मामले में ताजा गिरफ्तारी हुई है। घोटाला सामने आने के बाद तृष्णा श्रमा को पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था। 

गुवाहाटी पुलिस ने इससे पहले आत्महत्या मामले में अनुराग चालिहा, दीबन डेका, लेखांता दास और आशिम चक्रवर्ती को गिरफ्तार किया था। भाजपा किसान मोर्चा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी के सदस्य डेका को असम पुलिस भर्ती परीक्षा पेपर लीक घोटाले में उनकी कथित भूमिका के लिए अक्तूबर 2020 में गिरफ्तार किया गया था। गिरफ्तारी के तुरंत बाद उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था।

इस मामले में एक और पूर्व भाजपा नेता मुख्य आरोपियों में से एक है, जिसे हाल ही में जेल से रिहा किया गया है। भाजपा नेता ने 2011 में विधानसभा का चुनाव लड़ा था और 2021 में भी चुनाव लड़ने की योजना बना रहा है। 

लेखांता दास को नौकरी के बदले नकदी घोटाले में नाम सामने आने के बाद पार्टी की सभी जिम्मेदारियों से हटा दिया गया था। वह किसान मोर्चा के नलबाड़ी जिला अध्यक्ष था। जबकि भाजपा से निष्कासित अनुराग चालिहा  किसान मोर्चा का नेता था। वहीं, आशिम चक्रवर्ती पहले भाजपा का कैडर था। उसके अभी भी पार्टी के साथ करीबी संबंध थे। 

पुलिस ने शुरुआत में इस मामले को आत्महत्या का मामला मानकर जांच शुरू की थी। चालिहा की गिरफ्तारी के बाद घोटाले का एंगल सामने आया, जिसके घर से विभिन्न सरकारी नौकरियों के प्रवेश पत्र बरामद किए गए। इस बीच, मृतका और उसके सहयोगियों के बीच बातचीत के ऑडियो क्लिप ने भी मामले के विभिन्न कोणों को उजागर किया।

एक सूत्र ने कहा कि गिरफ्तार किए गए इन पांच आरोपियों ने पूछताछ के दौरान कई अन्य वरिष्ठ भाजपा नेताओं का नाम लिया है, जिसमें एक निगम का उपाध्यक्ष भी शामिल है, जो अगले साल लोकसभा चुनाव लड़ने की योजना बना रहा है।

पार्टी के इतने सारे पदाधिकारियों की संलिप्तता के बारे में पूछे जाने पर भाजपा के वरिष्ठ प्रवक्ता रूपम गोस्वामी ने कहा, ‘कानून अपना काम करेगा। पार्टी किसी भी कानूनी और जांच मामलों में हस्तक्षेप नहीं करेगी।’ 

विपक्षी कांग्रेस की महिला नेताओं ने 24 अगस्त को असम के राज्यपाल गुलाब चंद कटारिया से मुलाकात की थी और घोटाले में शामिल दोषियों के खिलाफ कड़ी सजा की मांग की थी। एक ज्ञापन में विपक्षी दल ने आरोप लगाया था कि तहबीलदार की आत्महत्या की परिस्थितियों ने मौजूदा भाजपा नीत असम सरकार में ‘भ्रष्टाचार के गिरोह’ को उजागर किया है।

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