आर्यन खान केस में मुंबई पुलिस की एसआईटी और एनसीबी की विजिलेंस टीम को जांच के दौरान यह सबूत मिले हैं कि किरण गोसावी और उसकी टीम ने मिलकर एक दो चक्रवाला चक्रव्यूह रचा था जिसमें आर्यन खान और उसके साथियों को फंसाकर 25 करोड़ की वसूली करनी थी.
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साजिश के तहत सुनील पाटिल, किरण गोसावी और मनीष भानुशाली ने प्लान बनाया था कि क्रूज पर रेव पार्टी होने की जानकारी एनसीबी को देकर और वहां रेड मारकर आर्यन और उसके दोस्तों को हिरासत में लिया जाए और खुद को भी एनसीबी अफसर बताकर शाहरुख खान से 25 करोड़ वसूल लिए जाएं.
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प्लान यह भी था कि अगर ऐसा नहीं होता है तो एनसीबी से बचाने के नाम पर करोड़ों रुपए की वसूली की जाए. इससे पहले कि गैंग अपने मंसूबों में कामयाब हो पाता एनसीबी के अफसरों ने पहली खेप में आर्यन समेत 8 लोगों की गिरफ्तारी दिखा दी. यही वजह थी कि किरण गोसावी और उसकी कंपनी को 50 लाख की किस्त वापस करनी पड़ गई.
दरअसल प्लान के मुताबिक आर्यन खान को रेड के दौरान पकड़े जाने से छुड़ाने के नाम पर किरण गोसावी ने पूजा डडलानी से 18 करोड़ में डील फाइनल की और 3 तारीख को हाजी अली चौक पर 50 लाख की पहली किस्त ली जिसमें से 25 लाख रुपए हवाला के जरिए सुनील पाटिल को भेजे गए, लेकिन किरण की आर्यन के साथ ली गयी एक सेल्फी की वजह से प्लान फेल हो गया और सुनील पाटिल ने 25 लाख रुपये वापस कर दिए और बाकी के 25 लाख लेकर किरण गोसावी फरार हो गया था.
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एनसीबी सूत्रों की मानें तो इस साजिश का मास्टरमाइंड सुनील पाटिल है जिसने अहमदाबाद में बैठकर यह चक्रव्यूह रचा था. जिसको अंजाम देने के लिए सुनील पाटिल ने किरण गोसावी और मनीष भानुशली को चुना था. इन तीनों की तिकड़ी रेड के काफी दिन पहले से ही आर्यन के बारे में जानकारी जुटा रही थी. अभी तक की जांच के दौरान एनसीबी की विजिलेंस टीम ने 16 से ज्यादा लोगों के बयान दर्ज किए हैं, जबकि इस मामले में मनीष भानुशाली और प्रभाकर सैल के बयान दिल्ली के एनसीबी ऑफिस में दर्ज किए जाएंगे.