दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार के मंत्री सत्येंद्र जैन को प्रवर्तन निदेशालय ने मनी लांड्रिंग मामले में गिरफ्तार कर लिया है. ‘AAP’ सरकार के मंत्री के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का मामला अगस्त 2017 में सीबीआई द्वारा उनके और अन्य के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति रखने के आरोप में दर्ज की गई एफआईआर से उपजा है.
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ईडी की जांच में पाया गया कि 2015-16 की अवधि के दौरान जब सत्येंद्र जैन एक लोक सेवक थे, तो उनके द्वारा लाभकारी स्वामित्व वाली और नियंत्रित कंपनियों को हवाला मार्ग के माध्यम से कोलकाता बेस्ड एंट्री ऑपरेटरों को नकद ट्रांसफर के बदले शेल कंपनियों से 4.81 करोड़ रुपये की स्थानीय एंट्री प्राप्त हुईं.
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ईडी ने उल्लेख किया है कि इस रकम का उपयोग जमीन की सीधी खरीद या दिल्ली और उसके आसपास कृषि भूमि की खरीद हेतु लिए गए ऋण की अदायगी के लिए किया गया था.
सीबीआई ने जैन और उनके परिवार के खिलाफ अगस्त 2017 में कथित तौर पर 1.62 करोड़ रुपये तक की मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया था. सीबीआई ने आरोप लगाया कि जैन और उनके परिवार ने 2011-12 में 11.78 करोड़ रुपए और 2015-16 में रुपए 4.63 करोड़ के शोधन के लिए चार शेल फर्म बनाई थी. प्रवर्तन निदेशालय ने सीबीआई की एफआईआर के आधार पर मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों की जांच शुरू की थी.
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आप से राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कहा, ‘ईडी ने सत्येंद्र जैन को 8 साल पुराने एक फर्जी केस में गिरफ्तार किया है, जिस मामले में वे 7 बार ईडी के सामने पेश हो चुके हैं. लेकिन कभी उनकी गिरफ्तारी नहीं हुई, CBI ने इसी केस में उन्हें क्लीनचिट दी है. लेकिन जैसे ही सत्येंद्र जैन हिमाचल के इंचार्ज बनाए जाते हैं, BJP उन्हें गिरफ्तार कराती है. जांच एजेंसियों के दुरुपयोग का एक बार फिर मामला सामने आया है, जल्द ही सत्येंद्र जैन छूटकर बाहर आएंगे क्योंकि यह फर्जी और निराधार केस है. BJP एक नहीं कितने भी कदम उठा ले, हिमाचल में AAP मजबूती से चुनाव लड़ेगी और जीतेगी.’