महाराष्ट्र के चंद्रपुर जिले में सोयाबीन किसानों के लिए एक विशेष पैकेज की घोषणा की मांग की गई है। महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री सुधीर मुनगंटीवार ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे से पत्र के जरिए मांग की है। येलो मोजेक रोग के प्रकोप के कारण किसानों की फसल नष्ट हो गई है। जिसके कारण उन्हें आर्थिक संकट का सामना करना पड़ सकता है।
मंत्री द्वारा जारी पत्र के अनुसार, जिले में 67,766 हेक्टेयर में सोयाबीन की खेती की गई थी। लेकिन अगस्त माह में येलो मोजेक वायरस के प्रकोप के कारण सारी फसल खराब हो गई है। मंत्री मुनगंटीवार ने कहा, सोयाबीन किसानों से बातचीत के बाद, मैं मुख्यमंत्री शिंदे और कृषि मंत्री धनंजय मुंडे से विशेष राहत पैकेज की मांग करता हूं। उन्होंने पत्र के जरिए किसानों को राहत पैकेज देने की मांग की है।
क्या है सोयाबीन मोजेक वायरस?
सोयाबीन येलो मोजेक वायरस जनित रोग है, जो पॉटीवायरस के कारण होता है। जो सफेद मक्खी (White Fly) के चपेट में आने से लगता है। इस रोग से ग्रस्त पौधों की पत्तियों पर सफ़ेद मक्खी के बैठने के बाद अन्य पौधों पर बैठने से रोग खेत की फसलों में फैल जाता है। सोयाबीन मोज़ेक वायरस पौधे के विकास में रुकावट, बीज के आकार में कमी और प्रति पौधे फलियों की संख्या में कमी का कारण बनता है।
इस बीच, जिला सूचना अधिकारी ने रविवार को विज्ञप्ति जारी कर कहा, अकोला स्थित डॉ. पंजाबराव देशमुख कृषि विश्वविद्यालय के शोधकर्ता वायरस प्रभावित सोयाबीन की फसल को हुए नुकसान का अध्ययन के लिए चंद्रपुर जिले का दौरा करेंगे। 26 सितंबर को टीम वहां जाकर नुकसान की जानकारी इकट्ठा करेंगी।