पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव के लिए मतदान शुरू हो गए हैं। मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, मिजोरम और तेलंगाना में विधानसभा चुनाव प्रचार के साथ-साथ कई नेताओं के ठिकानों पर प्रवर्तन निदेशालय की छापेमारी की खबरें सामने आई हैं। इसी बीच पूर्व कानून मंत्री सलमान खुर्शीद ने चुनावी राज्यों में प्रवर्तन निदेशालय (ED) को कानून का खुलेआम उल्लंघन करार दिया। उन्होंने कहा कि चुनावी राज्यों में ईडी की कार्रवाई से आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन हो रहा है। बता दें कि मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में कई राज्यों में ईडी की कार्रवाई हो रही है। विपक्ष का आरोप है कि सरकार केंद्रीय जांच एजेंसियों का बेजा इस्तेमाल कर रही है।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सलमान खुर्शीद ने गुरुवार को निर्वाचन आयोग से इस मामले में संज्ञान लेने की अपील की। चुनावी मौसम के दौरान विपक्षी नेताओं पर प्रवर्तन निदेशालय की छापेमारी को “गंभीरता से लेने” का आग्रह करते हुए पूर्व केंद्रीय कानून मंत्री ने तर्क दिया कि जब चुनाव की तारीखों की घोषणा के साथ आदर्श आचार संहिता लागू होगी, तो सरकार बहुत सी चीजें करना चाहेगी।
खुर्शीद आदर्श आचार संहिता पर क्या बोले?
हैदराबाद में मौजूद खुर्शीद ने विपक्षी नेताओं पर ईडी की छापेमारी पर एएनआई से बात की। उन्होंने कहा, “(आदर्श) आचार संहिता नाम की कोई चीज होती है…आचार संहिता की एक भावना भी होती है। आचार संहिता का वास्तविक सार समान अवसर के बारे में है। ऐसी कई चीजें हैं जो सरकार करना चाहती है… लेकिन जब आचार संहिता लागू होती है, तो आप उन सभी को समाप्त कर देते हैं…।”
कांग्रेस नेता पोंगुलेटी श्रीनिवास रेड्डी के आवास पर ईडी की छापेमारी
उन्होंने ईडी की छापेमारी को आदर्श आचार संहिता की भावना का उल्लंघन बताते हुए कहा, जब चुनाव प्रक्रिया चल रही है, उम्मीदवारों पर छापेमारी करना बहुत ही अलोकतांत्रिक है। यह आदर्श आचार संहिता की भावना का उल्लंघन है। खुर्शीद के बयान से इतर ईडी के अधिकारियों ने बताया कि आयकर अधिकारियों ने आज तेलंगाना के खम्मम जिले में कांग्रेस नेता पोंगुलेटी श्रीनिवास रेड्डी के आवास पर छापेमारी की। बता दें कि रेड्डी खम्मम जिले के पलेयर निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे हैं। यहां 30 नवंबर को मतदान होना है।
पांच राज्यों में हो रहे हैं विधानसभा चुनाव
लोकसभा के पूर्व सदस्य रेड्डी हाल ही में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) छोड़कर कांग्रेस में शामिल हुए थे। तेलंगाना के अलावा पूर्वोत्तर भारतीय राज्य- मिजोरम में भी विधानसभा चुनाव हो रहे हैं। हिंदी हार्टलैंड कहे जाने वाले तीन राज्यों में भी विधानसभा चुनाव कराए जाने हैं। 40 सदस्यीय मिजोरम विधानसभा के लिए मतदान खत्म हो चुका है। छत्तीसगढ़ विधानसभा के लिए पहले चरण का मतदान मंगलवार को संपन्न हुआ।
किन राज्यों में मतदान बाकी, पांच साल पहले का नतीजा कैसा?
अब मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ (दूसरे चरण) में 17 नवंबर को, राजस्थान में 25 नवंबर को और तेलंगाना में 30 नवंबर को चुनाव होंगे। पांचों राज्यों में वोटों की गिनती तीन दिसंबर को कराई जाएगी। बता दें कि 2018 में तेलंगाना विधानसभा चुनाव में, भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस), जिसे पहले तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) को शानदार जीत मिली थी। 119 में से 88 सीटें जीतने वाली बीआरएस का कुल वोट शेयर का 47.4 प्रतिशत है। पांच साल पहले कराए गए तेलंगाना में कांग्रेस केवल 19 सीटों के साथ दूसरे स्थान पर रही थी।