मुंबई में एनसीबी के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े की मुसीबत बढ़ती जा रही है. क्रूज ड्रग्स केस की जांच के बीच वो खुद ही कई मामलों में फंसते दिख रहे हैं. जब से महाराष्ट्र सरकार में मंत्री नवाब मलिक ने उन पर फर्जी कागजात दिखा नौकरी लेने का आरोप लगाया है, उनकी मुश्किलें पहले से ज्यादा बढ़ गई हैं. अब दलित सगंठनों ने भी समीर वानखेड़े के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है.
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दलित संगठनों की तरफ से दावा किया गया है कि समीर वानखेड़े ने नौकरी पाने के लिए खुद को SC बताया था. आरक्षण पाने के लिए समीर की तरफ से फर्जी कागज दिखाए गए थे. ये आरोप स्वाभिमानी रिपब्लिकन आर्मी और भीम आर्मी की तरफ से लगाए गए हैं. उनकी तरफ से District Caste Scrutiny Committee के पास एक शिकायत भी दर्ज करवा दी गई है.
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वैसे कुछ दिन पहले ही समीर वानखेड़े दिल्ली में अनुसूचित जाति-जनजाति आयोग के दफ्तर पहुंचे थे. वहां पर उन्होंने अपना जाति प्रमाण पत्र, पहली पत्नी से हुए बच्चे का बर्थ सर्टिफिकेट और तलाक के कागजात सौंपे थे. अभी आयोग उन कागजों की जांच कर रहा है लेकिन उससे पहले ही समीर वानखेड़े पर आरोप लगने शुरू हो गए हैं.
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