28.9 C
Mumbai
Friday, April 19, 2024

आपका भरोसा ही, हमारी विश्वसनीयता !

केरल के पत्रकार सिद्दीकी कप्पन UP की जेल में हैं बंद को मिली बड़ी राहत, सुप्रीम कोर्ट ने दे दी जमानत

सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश की जेल में बंद केरल के पत्रकार सिद्दीकी कप्पन को जमानत दे दी है। यूपी सरकार ने गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (यूएपीए) के तहत उनके खिलाफ मामला दर्ज किया था। सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया है कि कप्पन को तीन दिन के भीतर निचली अदालत में पेश किया जाए और उसे जमानत पर रिहा कर दिया जाए।

केरल के पत्रकार कप्पन को अक्तूबर 2020 में उत्तर प्रदेश के हाथरस जाते समय गिरफ्तार किया गया था, जहां कथित तौर पर सामूहिक दुष्कर्म के बाद एक दलित युवती की मौत हो गई थी। कप्पन ने इस मामले में जमानत के लिए शीर्ष अदालत का दरवाजा खटखटाया था। इससे पहले इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ पीठ ने इस महीने की शुरुआत में कप्पन की जमानत अर्जी खारिज कर दी थी।

यूपी सरकार ने किया था जमानत का विरोध
सुप्रीम कोर्ट में केरल के पत्रकार सिद्दीकी कप्पन की जमानत याचिका का यूपी सरकार ने जमकर विरोध किया था। यूपी सरकार ने कहा था कि कप्पन के चरमपंथी संगठन पीएफआई के साथ घनिष्ठ संबंध हैं, जिसका एक राष्ट्र विरोधी एजेंडा है। सिद्दीकी कप्पन देश में धार्मिक कलह और आतंक फैलाने की बड़ी साजिश का हिस्सा है।

राज्य सरकार ने सर्वोच्च अदालत से कहा था, ”कप्पन सीएए, एनआरसी और अयोध्या मुद्दे पर आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले और हाथरस की घटना को लेकर धार्मिक उन्माद फैलाने की साजिश का बड़ा हिस्सा है। वह वित्तीय शोधनकर्ता रऊफ शरीफ के साथ साजिश रच रहा था। 2010 में पीएफआई कैडर (पहले सिमी) ने बेरहमी से न्यूमैन कॉलेज के ईसाई प्रवक्ता टीजे थॉमस के हाथ काट दिए थे। साल 2013 में पीएफआई समर्थित हथियारों का प्रशिक्षण आतंकवादी शिविर पर केरल पुलिस ने छापा मारा था, जिसकी एनआईए ने जांच शुरू की थी।”

ताजा खबर - (Latest News)

Related news

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here