29 C
Mumbai
Saturday, April 20, 2024

आपका भरोसा ही, हमारी विश्वसनीयता !

भाजपा का जनाधार हिला भीतर से उठने लगे विरोध के स्वर, मोदी की संवेदनहीनता को कोरोना के मामले में नहीं करेंगे माफ़ !

भाजपा का जनाधार हिला भीतर से उठने लगे विरोध के स्वर, परिवार का कहना है कि मोदी ट्वीटर पर जयसवाल को फ़ालो भी करते हैं मगर बार बार मदद से गुहार लगाने के बावजूद कोई मदद नहीं आई। परिवार के लोगों ने जयसवाल की गाड़ी पर चिपकी मोदी की फ़ोटो फाड़ डाली और उनका कहना है कि मोदी को अब कभी माफ़ नहीं करेंगे।

यही हाल मोदी के बहुत सारे समर्थकों का है जो महामारी से निपटने के मोदी के रवैए से बहुत आहत हैं। अब यह असंतोष और आक्रोश हर जाति और हर धर्म के लोगों में फैलता जा रहा है।

निडर, निष्पक्ष, निर्भीक चुनिंदा खबरों को पढने के लिए यहाँ >> क्लिक <<करें

सोशल मीडिया प्लेटफ़ार्म्ज़ को देखिए तो पिछले दो महीनों में मोदी विरोधी हैशटैग बार बार ट्रेंड करते नज़र आए।

भाजपा के नेता सुधांशु मित्तल कहते हैं कि सरकार के बस में जो कुछ था उसने किया। वह यह भी कहना नहीं भूले कि स्वास्थ्य का मुद्दा तो राज्य सरकारों की ज़िम्मेदारी है और राज्य सरकारें केवल राजनीति कर रही हैं।

एक कारोबारी चेतन कौशल जो महामारी के कारण अपना कारोबार बंद करने पर मजबूर हैं, कहते हैं कि मैंने मोदी को वोट दिया था मगर अब मैं समझता हूं कि मोदी को कभी वोट नहीं देना चाहिए।

बड़े पैमाने पर आकस्मिक मौतों से मोदी के समर्थकों का भी संयम जवाब दे गया है।

आचुत्य त्रिवेदी बारह साल से भाजपा के मेंबर हैं उनका कहना है कि हमारे जैसे लोगों ने फ़ैसला कर लिया है कि अब मोदी को वोट देने की ग़लती नहीं करेंगे। मेरा परिवार जिन हालात से गुज़रा है उसके बाद तो अब मैं कभी यह ग़लती नहीं कर सकता।

मोदी को विश्व स्तर पर आलोचनाओं का सामना है कि उनके फ़ैसलों और कमज़ोर नीतियों की वजह से अर्थ व्यवस्था चरमरा गई जबकि पूरा देश महामारी की बेहद भयानक लहर से जूझ रहा है।

अधिक महत्वपूर्ण जानकारियों / खबरों के लिये यहाँ >>क्लिक<< करें

भाजपा का जनाधार हिला भीतर से उठने लगे विरोध के स्वर

मोदी को चुनाव रैलियों, कुंभ मेले और बड़े बड़े दावों के साथ ही इस बात पर भी भर्त्सना का सामना है कि वह इन हालात में भी 2.8 अरब डालर की लागत से नई संसद के निर्माण का काम आगे बढ़ाने पर तुले हुए हैं।

वरिष्ठ पत्रकार नलिनि सिंह ने अलजज़ीरा से बातचीत में कहा कि इन हालात में बिल्डिंग का निर्माण लोगों की लाशों पर पिकनिक मनाने जैसा है।

महामारी से निपटने के तरीक़े की चौतरफ़ा आलोचना के बीच भाजपा और आरएसएस ने गत 23 मई को उत्तर प्रदेश का चुनाव जीतने के तरीक़ों पर चर्चा के लिए बैठक की। कारण यह भी था कि हालिया स्थानीय चुनावों के नतीजे भाजपा को कठोर संदेश देने वाले थे।

हाल ही में उत्तर प्रदेश प्राइमरी टीचर्ज़ एसोसिएशन ने कहा कि चुनाव करवाने के लिए ड्यूटी पर तैनात किए गए शिक्षकों में से लगभग 1600 लोगों की कोविड-19 के कारण मौत हो गई।

बदनामी से सरकार इतनी परेशान हो गई है कि सोमवार को दिल्ली पुलिस ने ट्वीटर के कार्यालयों पर छापे मार दिए क्योंकि कंपनी ने पार्टी के प्रवक्ता के ट्वीट के आगे मैनीप्युलेटेड मीडिया का टैग लगा दिया था। पात्रा ने कांग्रेस को निशाने पर लेने के लिए एक विवादित टूलकिट शेयर कर दी थी।

‘लोकल न्यूज’ प्लेटफॉर्म के माध्यम से ‘नागरिक पत्रकारिता’ का हिस्सा बनने के लिये यहाँ >>क्लिक<< करें

दिल्ली पुलिस के छापे के बाद ट्वीटर ने कहा कि उसे भारत में अपने स्टाफ़ की सुरक्षा की ओर से चिंता है।

सरकार की विश्वसनीयता की यह हालत हो गई है कि हाल ही में मोदी ने वाराणसी के हेल्थकेयर वर्कर्स से आनलाइन बात की। इस दौरान वह भावुक हो गए। मगर सोशल मीडिया प्लेटफ़ार्म पर जब यह वीडिया डाला गया तो उसे लाइक से ज़्यादा डिसलाइक मिले और लोगों ने कमेंट में लिखा की मोदी के घड़ियाली आंसू।

लोग कह रहे हैं कि हमने जानें और नौकारियां गवांई हैं मोदी के रोने से हमें क्या हासिल होने वाला है।

ताजा खबर - (Latest News)

Related news

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here